एंकर- महाराष्ट्र के पुणे में Guillain-Barré Syndrome (GBS) के मरीजों की संख्या लगातार बढ़ रही है, और अब तक 158 मरीजों की पुष्टि हो चुकी है। इनमें से 38 को डिस्चार्ज किया जा चुका है, जबकि 21 मरीज वेंटिलेटर पर हैं। इस वायरस ने बच्चों और बुजुर्गों को भी अपनी चपेट में लिया है, और अब तक 5 मौतें हो चुकी हैं।
vo 1 – वहीं जिस तरीके से जीबीएस फैल रहा है ICMR की तरफ से उसको लेकर जांच जारी है। पुणे शहर के अलग-अलग हिस्सों से पानी के कई नमूने केमिकल और जैविक विश्लेषण के लिए पब्लिक हेल्थ लैब में भेजे गए हैं. जांच में आठ जल स्रोतों के नमूने दूषित पाए गए हैं.पुणे शहर के अलग-अलग इलाकों से कुल 160 जल के नमूने रासायनिक और जैविक विश्लेषण के लिए लैबे में भेजे गए हैं । क्योंकि इस बिमारी के फैलने के पीछे की सबसे बढ़ी वजह गंदगी है। लोग जिस पानी का इस्तमाल पीने के लिए करते वहीं पानी लोगों के लिए बिमारी पैदा कर रही है ।
vo 2- स्वास्थ्य विभाग ने लोगों को घबराने की आवश्यकता नहीं बताई है और एक टास्क फोर्स का गठन किया है। केंद्र और राज्य सरकार की टीम मिलकर इस पर काम कर रही है, और पुणे के बाद नागपुर में भी GBS के मामले सामने आए हैं, जिससे अस्पतालों में सतर्कता बढ़ा दी गई है। प्रशासन ने इसके नियंत्रण के लिए आवश्यक उपाय भी शुरू कर दिए हैं। अब इन नमूनों के विश्लेषण के बाद अधिकारियों द्वारा उचित कदम उठाए जाएंगे ताकि ऐसी समस्याओं का समाधान किया जा सके और लोगों को सुरक्षित पानी मिल सके
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